रूपं देहि जयं देहि यशो देहि द्विषो जहि।। ऊँ ऐं हीं श्रीं हीं हूं हैं ऊँ नमो भगवते महाबल पराक्रमाय • रोली, कपूर, चंदन तथा गोरोचन समान मात्रा में मिलाकर गंगाजल में घोंटकर तिलक लगाने से देखने वाले व्यक्ति वशीभूत होते हैं। सिद्धि गुरुर चरण राडिर कालिकार आज्ञा। It is https://tetrabookmarks.com/story19453746/the-best-side-of-vashikaran-mantra